नागपुर समारोह में 35 दिव्यांगों को देवेन्द्र फडणवीस के हाथों सेवाधाम को सौंपा
दिव्यांगों को नागपुर से सेवाधाम उज्जैन ले जाकर उनकी आजीवन सेवा करना हिम्मत का काम है।-देवेन्द्र फडणवीस
नागपुर महाराष्ट्र में सन् 1927 से सचांलित श्री श्रद्धानंद अनाथालय द्वारा आयोजित भव्य समारोह में ‘अंकित ग्राम’, सेवाधाम आश्रम संस्थापक सुधीर भाई गोयल ‘‘भाईजी’’ को महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री श्री देेवेन्द्र फडणवीस के हाथों नागपुर की विविध संस्थाओं में निवसारत 35 दिव्यांग, बहु दिव्यांग बालक बालिकाओं और बुजुर्गों को सेवा हेतु सौंपा। समारोह में सेवाधाम डेव्हलपमेंट कांउसिंल प्रेसिडेंट डाॅ. ऋषि भटनागर, नईदिल्ली, बालाजी बुटी कार्याध्यक्ष, श्रीमती मीरा ताई खड़तकार उपाध्यक्ष, डाॅ. निशा बुटी सचिव, गितांजलि बुटी सहसचिव, बी.सी भरतीया कोषाध्यक्ष, श्रीमती अपर्णा कोल्हे महिला बाल विकास अधिकारी, श्रीमती छाया गुरव अध्यक्ष बाल कल्याण समिति, नागपुर आदि विविध संस्थाओं के अधिकारी एवं गणमान्यजन उपस्थित हुए।
Join DV News Live on Telegram
श्री फडणवीस ने अपने उद्बोधन में कहा कि ‘‘भाईजी’’ उज्जैन मध्यप्रदेश में दिव्यांगों हेतु बहुत अच्छा और प्रशंसनीय कार्य कर रहे है। मैं जरूर सेवाधाम आश्रम में आपका कार्य देखने के लिए आउंगा। इस कार्य के लिए नागपुर में जो भी आपको मदद लगेगी वह हम मदद करेंगे। आप यहां पर भी अच्छा कार्य शुरू करें क्योकि इतना नेक कार्य करने वाले लोग कम है और अगर कोई सामने आकर इस क्षैत्र में आगे आकर कार्य करता है तो उनके पीछे खड़ा होना यह हमारी जिम्मेदारी समझते है और हमारी महाराष्ट्र सरकार भी पूरी ताकत के साथ जितने प्रकल्प खड़े होंगे उन प्रकल्पों को मदद करने के लिए खड़ी रहेगी। आपका ह्रदय से आभार करता हूं कि आपके कारण मुझे यह सौभाग्य प्राप्त हुआ नही तो मुझे यह सेवा का सुअवसर प्राप्त नही होता।
समारोह में श्री श्रद्धानन्द अनाथालय के 2 बहु दिव्यांग पर सेवा पर निवासरत बच्चे, शासकीय मान्यता प्राप्त बालिकागृह की 11, शासकीय सरस्वती महिला वस्तीगृह की 18 एवं शासकीय महिला भिक्षेकारी स्वीकार केन्द्र, नागपुर की 4 कुल समस्त संस्थाओं में निवासरत 35 महिलाओं और बुजुर्गो को स्वीकार किया।
इस अवसर पर सुधीर भाई ने समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि सेवाधाम को दो दशक से महाराष्ट्र के दिव्यांगों की सेवा का अवसर मिल रहा है, यह हमारे लिए गौरव का विषय है। दिव्यांग हमारे लिए भगवान का प्रतिरूप है और उसी भाव से उनकी सेवा आश्रम में होती है। सेवाधाम के दिव्यांग बच्चों द्वारा निर्मित हस्तशिल्प एवं भगवान महाकाल की थ्रीडी तस्वीर भेंट कर उज्जैन ‘अंकित ग्राम’, सेवाधाम आश्रम आने का आमंत्रण स्वीकार किया।