दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण का स्तर अभी भी बेहद खराब है. एयर क्वालिटी इंडेक्स 350 से 400 के बीच दर्ज किया जा रहा है. इस प्रदूषण का असर अब इंसानों के साथ-साथ पक्षियों पर भी पड़ने लगा है. पक्षियों के अस्पताल में भी मरीज पक्षियोंं की संख्या काफी बढ़ गई है.

पक्षियों के बीमार होने के पीछे प्रदूषण बड़ी वजह

गुरुग्राम के पक्षियों के सरकारी अस्पताल के डॉक्टर राजकुमार के मुताबिक, इस साल सबसे ज्यादा केस पक्षी मरीजों के ही हैं. पिछले महीने से तकरीबन 80 पक्षी मरीज उनके अस्पताल में पहुंचे हैं. इनके बीमार होने के पीछे प्रदूषण सबसे बड़ी वजह सामने आई है. पक्षियों में चिकन पॉक्स व कोराइजा जैसी बीमारियां हो रही हैं. यह स्थिति काफी चिंताजनक है.

डॉक्टर राजकुमार बताते हैं कि प्रदूषण के कारण पक्षी कोराइजा नामक बीमारी की चपेट में आ रहे हैं, कोराइजा बीमारी पक्षियों की आंखें चिपक जाती हैं. इससे पक्षियों को काफी ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ता है. साथ ही पक्षियोंं के फेफड़े काफी छोटे होने के कारण उन्हें सांस लेने में तकलीफ हो रही है.

वक्त पर इलाज नहीं मिलने पर दम तोड़ देते हैं पक्षी

डॉक्टर राजकुमार के मुताबिक, कई बार पक्षी प्रदूषण के कारण उड़ते-उड़ते ही जमीन पर गिर जाते हैं. अगर वक्त रहते इन पक्षियों को इलाज मिल पाता है तो ठीक है. वर्ना कई पक्षी मौके पर ही दम तोड़ देते है.

दिल्ली-एनसीआर में अब भी प्रदूषण का स्तर कई इलाकों में 350 से 400 के बीच है. इसका खामियाजा आम लोगों को भी भुगतना पड़ रहा है. बता दें पशु-पक्षी के अलावा बड़ी संख्या लोग सांस की तकलीफ लेकर अस्पताल पहुंच रहे हैं.